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दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे पर अचानक सामने नीलगाय आने से हुआ हादसा, 40 यात्रियों से भरी बस पलटी 

गुरुग्राम के एक्सप्रेस-वे पर बस के सामने नीलगाय आने से असंतुलित हुई डबल डेकर बस पलट गई जिसमें बस चालक समेत तीन लोग घायल हो गए। बस में करीब 40 सवारियां थीं जिनकी जान बाल-बाल बच गई। घायलों का इलाज के लिए गुरुग्राम के अस्पताल पहुंचाया गया है।सोहना शहर थाना क्षेत्र में बालूदा गांव के पास शनिवार रात साढ़े तीन बजे दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे पर नीलगाय के सामने आ जाने से असंतुलित हुई डबल डेकर बस पलट गई। हादसे में बस चालक समेत तीन लोग घायल हो गए। 
 

Delhi-Mumbai Expressway : गुरुग्राम के एक्सप्रेस-वे पर बस के सामने नीलगाय आने से असंतुलित हुई डबल डेकर बस पलट गई जिसमें बस चालक समेत तीन लोग घायल हो गए। बस में करीब 40 सवारियां थीं जिनकी जान बाल-बाल बच गई। घायलों का इलाज के लिए गुरुग्राम के अस्पताल पहुंचाया गया है।सोहना शहर थाना क्षेत्र में बालूदा गांव के पास शनिवार रात साढ़े तीन बजे दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे पर नीलगाय के सामने आ जाने से असंतुलित हुई डबल डेकर बस पलट गई। हादसे में बस चालक समेत तीन लोग घायल हो गए। 

बस में करीब 40 सवारियां थीं। तीनों घायलों का इलाज गुरुग्राम के नागरिक अस्पताल में चल रहा है।बस चालक विमलेश ने बताया कि उत्तराखंड नंबर की डबल डेकर निजी बस लेकर वह राजस्थान के कोटा से देहरादून जा रहे थे। दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस-वे पर सोहना में बालूद गांव के पास जब उनकी बस पहुंची तो सामने से अचानक नील गाय आ गई। नील गाय को बचाने के चक्कर में उन्होंने तेजी से बस को घुमाया तो वह असंतुलित होकर पलट गई।हादसे में विमलेश समेत बस में बैठीं उषा गुप्ता व तन्नु घायल हो गए। अन्य सवारियों की जान बाल-बाल बच गई। घटना की सूचना बस मालिक को दी गई। 

गुरुग्राम के सुभाष चौक से एक अन्य निजी बस मौके पर पहुंची और सभी सवारियों को इससे देहरादून के लिए रवाना किया गया।दूसरी ओर तीनों घायलों को पहले सोहना के अस्पताल ले जाया गया। यहां से इन्हें गुरुग्राम रेफर कर दिया गया। सोहना शहर थाना पुलिस ने घटनास्थल से क्षतिग्रस्त बस को हटाकर यातायात सुचारु कराया। वहीं एक्सप्रेस-वे पर नीलगाय कैसे पहुंच गई, इसकी जांच भी की जा रही है।उधर, पुलिस की कार्यप्रणाली पर भी उठ रहे सवाल बांधवाड़ी के पास हुए हादसे के बाद पुलिस की कार्यप्रणाली पर भी सवाल उठ रहे हैं। ग्वाल पहाड़ी चौकी क्षेत्र में जिस जगह यह हादसा हुआ, इससे पांच सौ मीटर दूर बांधवाड़ी कूड़े का पहाड़ है।

 यहां पर कूड़ा डालने के लिए रात में ट्रक और डंपर आते हैं। कई बार कूड़ा डालने के बाद चालक अपने-अपने वाहन सड़क पर ही खड़े कर देते हैं।पहले भी फरीदाबाद रोड समेत दिल्ली-जयपुरी हाईवे पर बेतरतीब तरीके से सड़क पर खड़े वाहनों के कारण हादसे हो चुके हैं। इसके बाद भी पुलिस ऐसे वाहन चालकों के विरुद्ध कार्रवाई नहीं कर रही है। अगर नियमित रूप से पुलिस टीम इस इलाके में गश्त करती तो शायद सड़क पर वाहन नहीं खड़े होते और हादसे से बचाव होता।