सीएम भजनलाल ने कर दिया ऐलान, भगवा रंग में नजर आएंगे प्रदेश के सरे कॉलेज
Rajatshan News : प्रदेश के सरकारी कॉलेजों को सफेद और भगवा रंग में रंगने का निर्णय, जिसे 'कायकल्प योजना' नाम दिया गया है, एक दिलचस्प और विवादास्पद कदम है। इस योजना का मुख्य उद्देश्य कॉलेजों में शैक्षिक माहौल को बेहतर बनाना और विद्यार्थियों के लिए सकारात्मकता की भावना उत्पन्न करना है।
सरकार का कहना है कि इस योजना के तहत कॉलेजों के मुख्य प्रवेश द्वार को भगवा रंग में रंगा जाएगा, जिससे एक स्वच्छ, सकारात्मक और स्वस्थ वातावरण का निर्माण हो सके। इस पहल के पहले चरण में कुल 20 सरकारी कॉलेजों को चुना गया है, जिसमें हर संभाग से दो कॉलेज शामिल हैं। इन कॉलेजों का फ्रंट एरिया और एंट्री प्वाइंट को विशेष रंगों से सजाया जाएगा: सफेद गोल्ड (8292) और ऑरेंज क्राउन (7974) रंग।
केंद्रीय उद्देश्य यह है कि इन रंगों से कॉलेज के शैक्षिक वातावरण में सकारात्मकता बढ़े और विद्यार्थियों को अच्छे और प्रेरणादायक माहौल में शिक्षा प्राप्त हो। इस रंग योजना के साथ ही कॉलेजों का इंफ्रास्ट्रक्चर भी सुधारने की योजना है, ताकि विद्यार्थियों को एक बेहतर और सुरक्षित शिक्षा प्राप्त हो सके।
हालांकि, इस निर्णय पर कुछ प्रतिक्रियाएं मिल सकती हैं, खासकर रंगों के चुनाव को लेकर, जो राजनीति और सांस्कृतिक प्रतीकों से जुड़ी हो सकती हैं। इसके बावजूद, सरकार का जोर इस बात पर है कि यह कदम कॉलेजों में एक सकारात्मक माहौल और शैक्षिक वातावरण को बढ़ावा देने के लिए है।
योजना के पहले चरण में जिन कॉलेजों को रंगने का निर्णय लिया गया है, उनमें प्रमुख कॉलेजों की सूची भी जारी की गई है, जैसे कि अजमेर का एसपीसी गवर्नमेंट कॉलेज, बीकानेर का गवर्नमेंट डूंगर कॉलेज, कोटा का गवर्नमेंट साइंस कॉलेज आदि।
इस योजना का मुख्य उद्देश्य केवल रंग-रोगन नहीं, बल्कि कॉलेजों का कायाकल्प कर वहां की अवस्थापना (इंफ्रास्ट्रक्चर) को भी सुधारना है, ताकि विद्यार्थियों को एक समृद्ध और प्रेरणादायक शिक्षा का माहौल मिल सके।