खींवसर की राजनीति में हुआ विपक्षी पार्टी का पलड़ा भारी, जानें क्या हैं पूरा मामला
Rajatshan News : राजस्थान की सात विधानसभा सीटों पर उपचुनाव होने जा रहे हैं.जिसमें सबसे हॉट सीट खींवसर की मानी जा रही है. क्यो कि यहां इस बार बीजेपी व रालोपा का साख का सवाल है. इस बार भाजपा के तमाम बड़े नेता , केबिनेट मंत्री, राज्य मंत्री , विधायको ने पिछले कई दिनों से डेरा डाल रखा है. ताकि पिछले लंबे समय से खींवसर सीट पर हनुमान बेनीवाल जीतते जा रहे हैं. 2008 से लगातार हनुमान बेनीवाल का खींवसर सीट पर कब्जा बना हुआ है . लेकिन बीजेपी इस बार इस सीट को हासिल करने की पूर जोर कोशिश कर रही है. खींवसर उपचुनाव को लेकर मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा व भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ खुद खींवसर में दो बार जन सभा कर चुके हैं.
वहीं दूसरी ओर कांग्रेस भी इस सीट को पाने के लिए तमाम कोशिशें करती हुई नजर आ रही है . कांग्रेस ने इस बार पूर्व डीआईजी सवाई सिंह चौधरी की पत्नी डॉ रतन चौधरी को टिकट दिया है. वहीं कांग्रेस प्रत्याशी डॉ रतन चौधरी के समर्थन में पीसीसी अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने भी खींवसर में जनसभा कर कांग्रेस के पक्ष में मतदाताओं से मतदान करने की अपील की. इनके साथ ही राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ने कनिका बेनीवाल को चुनाव मैदान में उतारा तो यहां समीकरण त्रिकोणीय बना गया.
क्यो कि अब भाजपा से रेवंतराम डांगा , कांग्रेस से डॉ रतन चौधरी और रालोपा से कनिका बेनीवाल के बीच मुकाबला है . वहीं लगातार राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी सुप्रीमो हनुमान बेनीवाल पिछले लंबे समय से खींवसर में गांव गांव जाकर जनसंपर्क कर रहे हैं. साथ ही हाल ही में आजाद पार्टी संयोजक चंद्रशेखर आजाद ने भी खींवसर में राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी के प्रत्याशी कनिका बेनीवाल को अपना समर्थन दे दिया है.
ऐसे में चंद्रशेखर आजाद की पार्टी के समर्थन देने के साथ ही राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी थोड़ी और मजबूत स्थिति में आ चुकी है. ऐसे में इस बार का मुकाबला रोमांचक होता जा रहा है. क्यो कि इससे पहले कांग्रेस के नेता रहे दुर्ग सिंह चौहान ने भी भाजपा की सदस्यता ग्रहण की . लेकिन खींवसर सीट पर सबसे अधिक जाट मतदाता हैं . उनकी ही भुमिका पर निर्भर होगा कि खींवसर का ताज किसके सर पर बंधेगा.